हम सब जानते हैं कि जुगनू जब तक जिंदा रहता है, तब तक चमकता है, रौशनी फैलाता है। एक दिन एक साँप एक जुगनू का पीछा करने लगा। सांप को पीछा करते देख जुगनू घबरा गया, उसे थोड़ा अजीब भी लगा। डर की वजह से जुगनू तेज़ी से उड़ने लगा। यह देखकर सांप भी तेज़ी से उसकी तरफ बढ़ने लगा।
एक समय जुगनू को लगा कि सांप उसका पीछा नहीं छोड़ेगा और उसे खा जायेगा। स्थिति को भांपकर, जुगनू रुक गया। जुगनू ने सांप से कहा: “क्या मैं आपसे तीन प्रश्न पूछ सकता हूँ?”
साँप ने कहा: हाँ, बिलकुल।
जुगनू: क्या आप जिस तरह के जीव खाते हो, मैं उनमें से एक हूँ?
साँप ने कहा: नहीं।
जुगनू ने दूसरा प्रश्न पुछा: क्या मैंने तुम्हारा कुछ नुकसान किया है?
साँप ने कहा: नहीं।
जुगनू ने तीसरा और आखरी प्रश्न पुछा: फिर तुम मुझे क्यों निगलना चाहते हो?
साँप ने उत्तर दिया: क्योंकि मैं तुम्हें चमकते हुए नहीं देख सकता।
इस कहानी से ये बात स्पष्ट है कि आपको जीवन में ऐसे लोग मिलेंगे जिनका आपसे कोई संबंध नहीं, जिनका आपने कुछ नहीं बिगाड़ा लेकिन वो आपको चमकते हुए नहीं देख सकते हैं, इसलिए वो सांप की तरह आपको नष्ट करने का प्रयास करेंगे, यदि चमकते रहना है तो उन सांपो पर अपना विशेष ध्यान रखो क्योकि वो दुष्ट है और दुष्ट का आचरण नही बदला जा सकता हैं!
जय श्री राम

Good moral of the story
Thanks Sir…. Jai Shree Ram
Very nice story
Thanks SIr….Reality of life…. Jai Shree Ram